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Sawaimadhopur खाद्य सुरक्षा टीम ने रणथंभौर में 2870 किलो फफूंद लगे लड्डू नष्ट कराए

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सवाईमाधोपुर न्यूज़ डेस्क, सवाईमाधोपुर तिरुपति बालाजी सहित देशभर के कई मंदिरों में 'प्रसाद' में मिलावट का मुद्दा उठने के बाद राजस्थान में भी एक्शन जारी है। स्वास्थ्य विभाग की फूड सेफ्टी टीम 'प्रसाद' की गुणवत्ता की जांच कर रही है।सवाई माधोपुर के रणथंभौर दुर्ग में स्थित त्रिनेत्र गणेश मंदिर के बाहर प्रसाद की दुकानों और गोदामों पर लगातार दो दिन कार्रवाई की गई। दुकानों और गोदामों में फंगस (फफूंद) लगे बेसन के लड्डू ट्रे में सजे मिले। यहां तक कि लड्डू बनाने का मिक्सचर भी खराब था। टीम ने यहां दो दिन में 2870 किलो फंगस (फफूंद) लगे बेसन के लड्डुओं को नष्ट करवाया।खाद्य सुरक्षा निरीक्षक वीरेंद्र सिंह ने बताया- गुरुवार को टीम ने 10 से ज्यादा दुकानों पर कार्रवाई की थी। 870 किलो लड्डू नष्ट करवाए थे। कुछ दुकानों-गोदामों को सीज कर दिया था। शुक्रवार को सीज की गई दुकानों, गोदामों और भंडार गृहों को खुलवा कर कार्रवाई की है। आज 2000 किलो लड्डू नष्ट करवाए।

सीज दुकानें खुलवाईं, दुकान मालिक भी रहे साथ

सीएमएचओ धर्म सिंह मीणा के निर्देश पर खाद्य सुरक्षा निरीक्षक वीरेंद्र सिंह के नेतृत्व में यह कार्रवाई की गई। टीम शुक्रवार सुबह 10 बजे रणथंभौर स्थित त्रिनेत्र गणेश मंदिर परिसर के पास पहुंची। टीम ने गुरुवार को कार्रवाई में 870 किलो लड्डू नष्ट कराए गए थे। इस दौरान कुछ दुकानों और गोदामों पर ताले मिले थे। इन्हें सीज कर दिया गया था।शुक्रवार को इन दुकानों-गोदामों के मालिकों को लेकर टीम यहां पहुंची। ताले खुलवाए गए और लड्डू नष्ट कराए गए। इनके अलावा अन्य दुकानों, भंडार और गोदामों की चेकिंग की गई।

व्यापारी बोले- बारिश के कारण बचा माल

मंदिर परिसर के पास प्रसाद की दुकान लगाने वाले कपिल ने बताया- गणेश चतुर्थी पर तीन दिन (6 से 8 सितंबर) का लक्खी मेला था। हर साल इस मेले में देशभर से करीब 10 लाख श्रद्धालु आते हैं। मेले को देखते हुए हर साल एक्स्ट्रा माल बनवाते हैं। यह खप भी जाता है।इस बार बारिश ज्यादा हुई। मंदिर शहर से दूर जंगल एरिया में है। बारिश के कारण कई जगह रास्ते बंद हो गए। सड़क पर बड़े गड्ढे हो गए। नदी का पानी रोड पर आ गया। ऐसे में अच्छी संख्या में श्रद्धालु पहुंच ही नहीं सके। बना हुआ माल बच गया।ऊपर से बारिश के कारण मंदिर में भी टूट-फूट हुई। इसके कारण मेले के बाद इसे 2 अक्टूबर तक के लिए बंद कर दिया गया है। ऐसे में स्थानीय श्रद्धालु भी नहीं पहुंच रहे। माल रखा रह गया। हम टीम का सहयोग कर रहे हैं।एक अन्य व्यापारी महेश गौतम ने बताया- हमें नुकसान काफी हुआ है। मेले के दौरान यह सोचकर अधिक माल तैयार करवाया था कि खप जाएगा। लेकिन, इस बार माल बच गया। अब टीम इसे नष्ट कर रही है। हमने किसी तरह की आपत्ति नहीं की है।

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