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शब्दों का जश्न, कहानियों का रंग... चंडीगढ़ में कब शुरू हो रहा 'लिटराटी-2024', डॉ. सुमिता मिश्रा ने बताया पूरा शेड्यूल

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चंडीगढ़ः सिटी ब्यूटीफुल चंडीगढ़ में साहित्य और साहित्यकारों का जमावड़ा फिर से होने जा रहा है। चंडीगढ़ लिटरेरी सोसाइटी (सीएलएस) 22 नवंबर से 24 नवंबर तक चंडीगढ़ लेक क्लब में चंडीगढ़ लिट फेस्ट (सीएलएफ)- लिटराटी-2024 का आयोजन करने जा रही है। इस बहुप्रतीक्षित लिटराटी-2024 के 12वें एडीशन में लेखकों और साहित्यिक गतिविधियों की एक पूरी सीरीज़ होगी। इस दौरान देश-विदेश के जाने माने साहित्यकार अपनी साहित्य रचनाओं की पेशकश के साथ उन पर गहन चर्चा भी करेंगे। सीएलएफ लिटराटी-2024 की शुरुआत एक भावपूर्ण संगीत संध्या, आगाज़- शाम-ए-ग़ज़ल के साथ होगी, जिसमें प्रसिद्ध कलाकार कंवर जगमोहन शामिल होंगे। यह आयोजन 22 नवंबर को रानी लक्ष्मी बाई भवन, सेक्टर 38, चंडीगढ़ में होगा। इसके बाद 23 और 24 नवंबर को साहित्यिक सेशन सुखना लेक, चंडीगढ़ में होंगे। सीएलएफ लिटराटी 2024 की फेस्टिवल डायरेक्टर और सीएलएस की चेयरपर्सन डॉ. सुमिता मिश्रा, आईएएस ने आज यहां प्रेस क्लब में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान लिटराटी 2024 के पूरे शेड्यूल के बारे में जानकारी प्रदान की। डॉ. मिश्रा ने कहा कि 'सेलिब्रेटिंग क्रिएटिविटी' थीम पर आधारित, 3 दिवसीय लिटरेचर फेस्टिवल में नए नए विषयों पर डिस्कशंस, बुक लॉन्च, सहभागिता सेशंस के साथ ही आर्ट एंड कल्चर सेक्टर से कई जाने माने लोग भी इस आयोजन का हिस्सा होंगे। कई जाने माने लोग अपनी किताबों के कुछ हिस्से भी पढ़ेंगे और ये पूरा आयोजन अलग अलग साहित्यिक गतिविधियों का खूबसूरत मिक्स होगा।' उन्होंने कहा कि 23 नवंबर को पंडित सुभाष घोष द्वारा 'कौर्ड्स फ्रॉम द हार्ट' म्यूजिकल परफॉर्मेंस के साथ फेस्टिवल की मधुर शुरुआत होगी। मुख्य संबोधन राष्ट्रीय साहित्य अकादमी के अध्यक्ष माधव कौशिक द्वारा दिया जाएगा। उसके बाद अलग अलग सेशंस की शुरुआत होगी। डॉ. सुमिता मिश्रा ने कहा कि 'पहले दिन के आकर्षणों में से एक 'रतन टाटा: ए लाइफ' का विमोचन होगा, जो रिटायर्ड ब्यूरोक्रेट डॉ. थॉमस मैथ्यू द्वारा रतन टाटा पर लिखी गई एक दिलचस्प और नई जीवनी है। यह किताब रतन टाटा के जीवन की एक अनूठी झलक पेश करती है, जो उनकी जिंदगी के सफर के कई अंजाने पलों और अलग पहलुओं को उजागर करती है। लॉन्च के अवसर पर लेखक डॉ. मैथ्यू के साथ एक इंटरेक्टिव सेशन 'द लीजेंड लिव्स ऑन-ए मैन कॉल्ड रतन टाटा' होगा।' पंजाब: जलियांवाला बाग ट्रेजेडी एंड द नैरेटिव्स अराउंड इट ” शीर्षक वाले एक मार्मिक सेशन में, कई जाने माने स्पीर्क्स किश्वर देसाई- अवॉर्ड विजेता लेखिका, नाटककार और इतिहासकार और यूएसए के पूर्व राजदूत नवतेज सरना, जिनकी ‘क्रिमसन स्प्रिंग’ ने 2022 की बेस्ट फिक्शन बुक के लिए केएलएफ अवॉर्ड जीता शामिल होंगे। ये भारतीय इतिहास की सबसे दुखद घटनाओं में से एक के गहन प्रभाव पर चर्चा करेंगे। “पंजाब दी जुबान: युवा कवियों की वर्तमान समय में पंजाबी कविता पर चर्चा ” में, युवा कवि रणधीर उप्पल, वाहिद खडियाल और जस्सी संघा पंजाबी कविता के लगातार बेहतर होते माहौल के बारे में बात करेंगे।एक अन्य महत्वपूर्ण सत्र, 'लीगल लैंडमार्क्स: चार्टिंग द पाथ ऑफ जस्टिस' में पिंकी आनंद, जानी मानी एडवोकेट और राजनीतिज्ञ , जिन्होंने भारत के सर्वोच्च न्यायालय में एडीशनल सॉलिसिटर जनरल के रूप में काम किया है और वकील सौदामणि शर्मा शामिल होंगी, जो भारत के इतिहास में प्रमुख लीगल माइलस्टोंस पर चर्चा करेंगी। फेस्टिवल में 'वोयसिज़ ऑफ वैलर : स्टोरीज ऑफ ब्रेवहार्ट्स' में बहादुरी और साहस की कहानियों का जश्न मनाया जाएगा, जिसमें जनरल इयान कार्डोज़ो भारतीय सेना के पहले अधिकारी जिन्हें वीरता के लिए सेना पदक से सम्मानित किया गया था, और जनरल सैयद अता हसनैन शामिल हैं। जनरल हसनैन एक बेहद सम्मानित और महत्वपूर्ण पदों पर तैनात रहे भारतीय सेना अधिकारी हैं जो जम्मू-कश्मीर, पाकिस्तान और मिडिल ईस्ट पर प्रमुख लेखकों और विश्लेषकों में से एक हैं।'इंक एंड इमेजिनेशन: क्राफ्टिंग पोएटिक वर्ल्ड्स' में आईएएस अधिकारी डॉ. सुमिता मिश्रा, जिन्हें कई चंडीगढ़ साहित्य अकादमी पुरस्कार मिल चुकें हैं और जो समकालीन भारत की एक प्रमुख कवियत्री हैं , लेखिका अराधिका शर्मा के साथ कविता गढ़ने की कला पर बातचीत करेंगी। एक अन्य महत्वपूर्ण सेशन 'डैडी इन द ड्राइवरस सीट: ए सिंगल फादर्स एक्सपीरियंस' में बॉलीवुड अभिनेता तुषार कपूर शामिल होंगे, जिन्होंने अपनी पहली पुस्तक 'बैचलर डैड: माई जर्नी' के साथ लेखन में कदम रखा है। उनकी ये किताब एक संस्मरण है जो 2016 में सरोगेसी के माध्यम से पैदा हुए अपने बेटे लक्ष्य के एकल पिता के रूप में उनके अनुभवों को बताती है। डॉ. मिश्रा ने कहा कि 'कार्यक्रम के दौरान सभी सेशंस को इस तरह से तैयार किया गया है कि वक्ताओं द्वारा एक बढ़िया संवाद सामने आए।' फेस्टिवल का दूसरा दिन कवि एमी सिंह और जस्सी संघा द्वारा 'इन मेमोरियम: ए ट्रिब्यूट टू डॉ. सुरजीत पातर' सेशन से शुरू होगा। जस्सी संघा, एक जानी मानी पंजाबी लेखिका , असिस्टेंट डायरेक्टर और फिल्म रिसर्चर हैं। “हिस्टरी एज स्टोरीटेलिंग: रिवाइविंग द लॉस्ट चैप्टर्स”, पर एक खाससेशन आयोजित किया जाएगा, जिसका नेतृत्व लेखिका इरा मुखोटी करेंगी - जो कथा इतिहास की लेखिका हैँ और 'अकबर: द ग्रेट मुगल' की भी लेखिका हैं। “ब्यूटी इन डावर्सिटी: लव, लैंग्वुएज एंड पोएट्री” पर एक दिलचस्प डिस्कशन भी होगी, जिसमें कई अवॉर्ड जीतने वाली अनुवादक, लेखिका और साहित्यिक इतिहासकार रख्शंदा जलील और सीनियर ब्यूरोक्रेट विजय वर्धन शामिल होंगे। श्री विजय वर्धन की नई किताब, ‘हैपनिंग हरियाणा’ हड़प्पा युग से लेकर वर्तमान तक हरियाणा के इतिहास को दर्शाती है।एक अन्य सेशन, “साहित्य संवाद: कथा और कल्पना” में डॉ. माधव कौशिक, जो प्रख्यात हिंदी कवि और लेखक हैं और जो राष्ट्रीय साहित्य अकादमी के प्रेसिडेंट भी हैं और प्रसिद्ध कवि और आलोचक, जितेन्द्र श्रीवास्तव जिन्होंने 30 पुस्तकें लिखी हैं, भारतीय साहित्य में कहानी और कल्पना के परस्पर संबंधों पर चर्चा करेंगे।एक अन्य प्रासंगिक सेशन ‘एआई एंड क्रिएटिविटी: फ्रैंड या फो?’ में खुशवंत सिंह, जो एक प्रतिष्ठित लेखक हैं और जो पंजाब के पूर्व राज्य सूचना आयुक्त भी हैं, और अफ्फान येसवी, जो एक सूफी विद्वान, कॉलमनिस्ट और आंत्रप्रेन्योर हैं, रेणु सिन्हा के साथ बातचीत करेंगे। इस बातचीत के दौरान वे एआई की क्रिएटिव कॉसमॉस में आ रहे बड़े बदलावों पर व्यापक विचार-विमर्श करेंगे।मंच कला पर एक गहन सेशन 'द पॉवर ऑफ नैरेटिव थिएटर एंड बियोंड' में रंगमंच के दिग्गज एम के रैना - जिन्हें अभिनेता, थिएटर डायरेक्टर, फिल्म निर्माता, पटकथा लेखक, शिक्षाविद और लेखक के रूप में उनके योगदान के लिए जाना जाता है और पद्मश्री नीलम मानसिंह चौधरी, जो एक प्रसिद्ध रंगमंच कलाकार और डायरेक्टर हैं, कहानी कहने के माध्यम के रूप में रंगमंच की परिवर्तनकारी ताकत पर चर्चा करेंगे।'एकोज ऑफ 1984: लॉस, सर्वाइवल एंड आइडेंटिटी नैरेटिव्स ऑफ लॉस, सरर्वाइवल एंड आइडेंटिटी' में जानी मानी लेखिका बुब्बू तीर और मानवाधिकार कार्यकर्ता और 'द कर्स ऑफ़ 1984: द अनटोल्ड, अनहर्ड स्टोरीज़ ऑफ़ सिख वीमेन' के लेखिक सनम सुतीरथ वज़ीर के साथ एक मार्मिक चर्चा होगी। 'एक्सप्लोरिंग इंडियाज सिविलाइजेशनल वेल्थ: लैंग्वुएज, स्प्रिचुयलिटी एंड हैरिटेज' में एक दर्जन से अधिक बेस्टसेलर किताबें लिखने वाले लेखक-डिप्लोमैट पवन वर्मा और पब्लिशिंग हाउस गरुड़ा प्रकाशन के संस्थापक और सीईओ संक्रांत सानू शामिल होंगे, जो भारत की समृद्ध सांस्कृतिक पृष्ठभूमि पर बात करेंगे।'फियर एंड फॉली: द इंटरसेक्शन ऑफ हॉरर एंड सैटायर' में लेखक सोहम शाह नजर आएंगे। सोहम, एक फिल्म निर्माता, फाइन आर्टिस्ट, एडर्वटाइजिंग कंपनी क्रिएटर और लेखक हैं, जिन्होंने अपने पहले नॉवेल ब्लड मून से लेखन की शुरुआत की है। उनके साथ करण ओबेरॉय होंगे जो एक मॉडल और भारत के पहले बॉय-बैंड - ए बैंड ऑफ बॉयज़ के संस्थापक हैं! कंटेम्प्रेरी कहानियों में हॉरर और व्यंग्य के सुखद एवं परेशान करने वाले मिक्स का अनुभव करने का मौका इस एक्सक्लूसिव सेशन में मिलेगा।यहां ये बताना महत्वपूर्ण है कि यह फेस्टिवल 'बुक बज़' गतिविधियों के तहत 6 पुस्तकों के विमोचन का भी गवाह बनेगा। इनमें सरबजीत सिंह मदान की 'उडारी (पंजाबी)'; शरत रल्हन की 'द दिवा हू डाइड टू लिव'; डॉ. संजीव कुमार आरजे की 'सुलगदी धरती'; लेखिका चेतना कीर द्वारा 'गीशा इन द गोटा पत्ती'; लेखिका सारिका धूपर की 'उद्गार' और अनिरुद्ध तिवारी द्वारा लिखित 'रिफलेक्शंस ऑफ राम सेवक' शामिल हैं।गौरतलब है कि सीएलएफ लिटराटी के पिछले एडीशंस में भारत और विदेशों के जाने-माने लेखक और वक्ता शामिल हुए हैं, जिनमें रस्किन बॉन्ड, अमीश त्रिपाठी, अश्विन सांघी, सोनम वांगचुक, चित्रा बैनर्जी दिवाकरुनी, राकेश ओमप्रकाश मेहरा, दिव्या दत्ता, रविंदर सिंह, जेरी पिंटो, अशोक वाजपेयी, राजदीप सरदेसाई, तारेक फतह, नंदिता पुरी, पुष्पेश पंत, राहुल पंडिता, शेफाली वासुदेवा, सुरजीत पातर, रुजुता दिवाकर, कृष्णा देवुलपल्ली, कमला कपूर, किरण नागरकर, मृदुला कोशी, मधुलिका लिडल, तवलीन सिंह, कोलुम्पा बम, ली मराकल, शौना सिंह बाल्डविन, जिम डेविडसन और जेरोम आर्मस्ट्रांग सहित अन्य कई हस्तियां शामिल हैं।
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