मुंबई: महाराष्ट्र में बीजेपी की जड़े जमाने वाले एनसीपी नेता एकनाथ खडसे ने संन्यास का ऐलान कर दिया है। जलगांव की मुक्ताईनगर सीट से छह बार विधायक चुने गए एकनाथ खडसे ने लोगों ने इस बार के चुनाव में बेटी रोहिणी को जिताने की अपील करते हुए कहाकि वह अब संन्यास लेंगे। एकनाथ खडसे की बहू रक्षा खडसे बीजेपी में है। लोकसभा चुनावों में रावेर से फिर जीतने पर उन्हें मोदी 3.0 में मंत्री बनाया गया था। बीजेपी को छोड़ने के बाद एकनाथ खडसे शरद पवार के साथ हैं। उनकी बेटी रोहिणी खडसे एनसीपी (शरदचंद्र पवार) से चुनाव मैदान में उतरी हैं। 2019 में वह बीजेपी से लड़ी थीं लेकिन चुनाव हार गई थीं। खडसे की भावुक अपील मुक्ताईनगर विधानसभा सीट पर प्रचार के दौरान एकनाथ खडसे ने लोगों से अपनी बेटी रोहिणी खडसे को चुनाव में जिताने की मार्मिक अपील की। उन्होंने कहा कि कई सालों की राजनीति के दौरान मैंने अच्छे बुरे समय में बिना जाति-धर्म देखे लोगों की मदद की है। आजकल मेरी तबीयत ठीक नहीं है। भगवान ही तय करेंगे कि मैं अगला चुनाव देख पाऊंगा या नहीं। लेकिन मैं आपसे ईमानदारी से अपील करता हूं कि मौजूदा चुनाव में रोहिणी खडसे को जिताएं। 2020 में छोड़ी थी बीजेपी ओबीसी नेता एकनाथ खडसे ने 2020 में बीजेपी छोड़कर एनसीपी जॉइन कर ली थी। लोकसभा चुनाव से पहले उनके बीजेपी में वापसी की चर्चा जोरों पर थीं, लेकिन औपचारिक प्रस्ताव नहीं मिलने के कारण उनकी घरवापसी नहीं हो सकी। उनकी बहू रक्षा खडसे को बीजेपी ने टिकट दिया था और वह केंद्र में मंत्री भी बनीं। चुनाव के बीच खडसे ने मार्मिक अपील कर यह संदेश दे दिया है कि बीजेपी में उनका रास्ता बंद हो गया है और वह शरद पवार की पार्टी में ही बने रहेंगे। उनकी बेटी रोहिणी खडसे एनसीपी-एसपी की महिला विंग की अध्यक्ष हैं और उन्होंने फिर से बीजेपी में शामिल होने की संभावना से भी इनकार किया है। बेटी को बनाया राजनीतिक वारिस इसके साथ ही एकनाथ खडसे ने तय कर दिया उनकी राजनीतिक वारिस बहू नहीं बल्कि बेटी रोहिणी खडसे ही होगी। पिछले विधानसभा चुनाव में रोहिणी खडसे मुक्ताई नगर सीट से बीजेपी की उम्मीदवार थीं। उन्हें निर्दलीय चंद्रकांत पाटिल ने हरा दिया था। इस चुनाव में भी रोहिणी खडसे का मुकाबला शिवसेना के चंद्रकांत पाटिल से ही है। इस चुनाव में खडसे की बहू रक्षा खडसे ने अपनी ननद के खिलाफ सक्रिय रूप से प्रचार किया है और वोटरों से महायुति उम्मीदवार चंद्रकांत पाटिल को जिताने की अपील की। राेहिणी की शिवसेना से है टक्कर मुक्ताईनगर तालुका हमेशा से बीजेपी का गढ़ रहा है। 2019 के चुनावों में निर्दलीय चुनाव लड़ने वाले चंद्रकांत पाटिल को एनसीपी का समर्थन हासिल था। इस चुनाव में रोहिणी खडसे को उम्मीद है कि उन्हें शरद पवार समर्थक एनसीपी, कांग्रेस और यूबीटी के वोटरों का समर्थन मिलेगा। दूसरी ओर, चंद्रकांत पाटिल को बीजेपी नेता गिरीश महाजन का समर्थन हासिल है। सीएम एकनाथ शिंदे ने भी पाटिल की जीत को प्रतिष्ठा का सवाल बना लिया है। चंद्रकांत पाटिल को उम्मीद है कि उन्हें एनसीपी, बीजेपी और शिंदे के समर्थन के कारण बड़ी जीत मिलेगी। वह चुनाव प्रचार के दौरान अपने कार्यकाल में किए गए काम को भी गिनवा रहे हैं।
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